Ustad Rashid Khan:

Ustad Rashid Khan: Ton of loss in Hindustani Classical Music, Just 55 aged, passed away

हिन्‍दुस्‍तानी शास्‍त्रीय संगीत के धुरंधर Ustad Rashid Khan जिनकी रूहानी और मखमली आवाज का भारत का क्‍लासिकल संगीत जगत के साथ-साथ बॉलीवुड में भी शोक की लहर है. ‘आओगे जब तक, अलबेला सजन, सखी री, छीने रे मोरा चैन, तुम संग और न जाने ऐसे कितनों ही गीतों की श्रृंखला देने वाले एक महान गायक का मात्र 55 वर्ष की उम्र में निधन होना बहुत बड़ी क्षति है. 

कैंसर के खिलाफ लगभग चार से लड़ रहे लंबी जंग में Ustad Rashid Khan की हार ने हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत को अनगिनत श्रोताओं तक पहुंचाने वाली मशहूर आवाज का गला रोंद दिया, यह बहुत ही दुखद है. वे मात्र 55 वर्ष के थे और इन्‍होंने इतनी कम उम्र में हिन्‍दुस्‍तानी संगीत के प्रसिध्‍द घराने ‘रामपुर-सहसवान घराना’ (जिसे ग्‍वालियर घराना भी कहा जाता है)  की शैली से आज पूरे विश्‍व को परिचय कराने में कोई कसर नहीं छोड़ी. जब कोई शख्‍स अपने जीवन के कम समय में भी अपना मुकाम हासिल कर लेता है तो वह हमारे इतिहास का हिस्‍सा बन जाता है. ऐसे शख्‍स के जाने पर हम  उनके परिवार को याद करते हैं – 

आपको बता दें कि रामपुर-सहसवान घराने से ताल्लुक रखने वाले Ustad Rashid Khan, घराने के संस्थापक इनायत हुसैन खान के परपोते थे जोकि उनकी छठी पीढ़ी से थे. रामपुर-सहस्वान घराना हिंदुस्तानी संगीत के प्रसिद्ध घरानों में से एक है। रामपुर सहस्वान घराने की इस शैली में ‘स्वर की स्पष्टता पर एक तनाव है और विकास और राग का विस्तार एक चरण दर चरण प्रगति के माध्यम से किया जाता है’। इस घराने से संबंधित नौ कलाकारों को अबतक पद्म पुरस्कार से सम्‍मानित भी किया जा चुका है. 

Ustad Rashid Khan: Ton of loss in Hindustani Classical Music

रामपुर-सहसवान घराने मशहूर कलाकार:

1. उस्ताद इनायत हुसैन खान    

2. उस्ताद मुश्ताक हुसैन खान

3. उस्ताद सादिक हुसैन खान

4. उस्ताद ग़ुलाम मुस्तफ़ा खान

5. उस्ताद इफ़्तेख़ार हुसैन खान                    

6. उस्ताद निसार खान

7. उस्ताद राशिद खान                                   

8. उस्ताद गुलाम अब्बास खान

भारतीय शास्‍त्रीय संगीत से क्‍या क्‍या ताल्‍लुक रखता है रामपुर सहसवान घराना-

इस घराने की शुरुआत महबूब खान से हुई, और फिर महबूब खान की विरासत को उस्ताद इनायत हुसैन खान ने आगे बढ़ाया, महबूब खान इनायत हुसैन खान के पिता थे, और लखनऊ नवाब वाजिद अली खान के दरबारी गायक भी थे. इनयात हुसैन खान की शिक्षा अपने पिता महबूब खान से हुई , जब 1857 का विद्रोह हुआ और लखनऊ के हालात ख़राब हो गए तो महबूब खान, इनायत हुसैन खान को उन के नाना के पास रामपुर ले आये रामपुर में उस्ताद बहादुर खान से इनायत हुसैन शिक्षा लेने लगे. 

उस्ताद इनायत हुसैन खान के शागिर्द उस्ताद मुश्ताक हुसैन खान हुए, इनायत हुसैन खान और  उस्ताद मुश्ताक हुसैन खान रामपुर नवाब के दरबार में गायक रहे, इसलिए से रामपुर सहसवान घराने का नाम  रामपुर सहसवान पड़ा. देश विदेश में यह घराना हिन्दुस्तानी शास्त्री संगीत को ऊँचाइयों पर पहुँचा रहा है. हिंदुस्तान के अलावा विदेश जैसे कनाडा, हांगकांग में रामपुर सहसवान घराने के लोग  शास्‍त्रीय संगीत की शिक्षा दे रहे हैं . 

आखिर क्‍या रहा Ustad Rashid Khan के निधन का कारण -

उनके इलाज में जुटी डॉक्‍टर्स की टीम ने संवाददाताओं को बताया कि वे पिछले साल 22 नवंबर को हॉस्पिटल में भर्ती किया गया था वे लगभग 4 साल से प्रोटेस्‍टेंट केंसर के चलते इंट्रासेरेब्रल रक्‍तस्‍त्राव हुआ उनका इलाज कंर्जेवेटिव ट्रीटमेंट से किया जा रहा था जिससे कुछ सुधार हुआ लेकिन लंबे समय तक अस्‍पताल में रहने के कारण उनका संक्रमण तेजी से फैल गया, जिसके चलते उनका निधन हो गया. 

पश्चिम बंगाल की मुख्‍यमंत्री सुश्री ममता बनर्जी ने कहा, “मैंने उनके निधन के बारे में सुना। यह पूरे देश और पूरे संगीत जगत के लिए बहुत बड़ी क्षति है। मैं बहुत मानसिक पीड़ा में हूं क्योंकि मुझे अभी भी विश्वास नहीं हो रहा है कि राशिद खान नहीं रहे।” उन्‍होंने Ustad Rashid Khan को याद करते हुए कहा कि वह बहुत प्‍यारे इंसान थे वे उ.प्र. के बदायूं में पैदा हुए लेकिन 10 वर्ष की उम्र में 1980 से पश्चिम बंगाल को अपना घर बनाया, और दुख की घड़ी में हम सभी उनके परिवार के साथ हैं. 

हिन्‍दी कवि, लेखक पटकथा लेखक और सेंसर बोर्ड के चेयरमैन श्री प्रसून जोशी ने अपना शोक व्‍यक्‍त करते हुए कहा Ustad Rashid Khan हमारे बीच ‘एक किवदंती और एक आवाज जिसके माध्‍यम से परमात्‍मा ने हमसे बात की’  उन्होंने कहा, “राशिद खान का निधन संगीत की दुनिया के लिए एक अपूरणीय क्षति है। वे भाग्यशाली हैं जिन्होंने उन्हें प्रदर्शन करते हुए सुना। वह एक अद्वितीय खजाना थे। मिलेंगे राशिद भाई ऊपर मिलेंगे।”

संगीत निर्देशक प्रीतम ने राशिद खान साब को खोना संगीत की दुनिया के लिए बहुत बड़ी क्षति है।

मनोज बाजपेयी, सोमना महापात्रा, रेखा भारद्वाज निमृत कौर जैसे दिग्‍गज कलाकारों ने Ustad Rashid Khan को याद करते हुए सोशल मीडिया के माध्‍यम से अपना शोक व्‍यक्‍त किया. 

Disclaimer 

र्ल्‍डब्रिज इस पोस्‍ट के माध्‍यम से उस्‍ताद राशिद खान के लिए विनम्र श्रृध्‍दांजलि प्रेषित करते हुए ईश्‍वर से प्रार्थना और कामना करता है कि उनके परिवार के लिए इस हृदयविदारक घटना को सहन करने की शक्ति प्रदान करे. उस्‍ताद राशिद खान जी को दिल से सलाम!!! 

Ustad Rashid Khan के वो नगमें जो हर एक की जुबान पर है – सौजन्‍य यूट्यूूब की ओर से

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